Saturday, June 3, 2017

एमजी रोड की अवैध बिल्डिंगों पर इतनी मेहरबान क्यों है निगम

पूर्व पार्षद व आरटीआई कार्यकर्ता ने बिल्डरों के दबाव-प्रभाव से परेशान होकर लिखा निगमायुक्त को पत्र
इंदौर. चीफ रिपोर्टर ।
एमओएस,  पार्किंग और सेटबेक की जमीन पर कब्जा करके बनाई गई और बनाई जा रही एमजी रोड की इमारतों पर नगर निगम का मैदानी अमला मेहरबान है। कार्रवाई करने के बजाय बिल्डरों के साथ मिलकर शिकायतकर्ताओं पर आर्थिक और राजनीतिक दबाव प्रभाव डाला जा रहा है जिसकी शिकायत नगर निगम आयुक्त मनीष सिंह को पूर्व पार्षद और मामले के शिकायतकर्ता परमानंद सिसोदिया ने की है।
सिसोदिया चार महीने से एमजी रोड के प्लॉट नं. 474 की निर्माणाधीन इमारत और 475 व 476 को जोड़कर बनाये गए जयश्री कृष्णा मार्केट की शिकायत कर रहे हैं। प्लॉट नं. 474 पर जहां 114 प्रतिशत अवैध निर्माण हुआ है। वहीं हरियानी और छाबडा का जयश्री कृष्णा मार्केट 117 प्रतिशत अवैध बना हुआ है। सिसोदिया की शिकायत पर इसका खुलासा दबंग दुनिया 25 जनवरी 2017 को भी ‘निगम के नजदीक ही बना दिया 117 प्रश अवैध मार्केट’ शीर्षक से प्रकाशित समाचार में भी कर चुका है। बावजूद इसके अब तक दोनों में से किसी भी मार्केट पर नगर निगम ने रिमुवल की कार्रवाई नहीं की। उलटा, निगम के अधिकारियों ने बिल्डर को सलाह दे दी कि शिकायतकर्ताओं को मैनेज कर लो, दिक्कत दूर हो जाएगी। अखबारों में तो छपता रहता है। अधिकारियों की सलाह पर दोनों मार्केट के मालिकों ने सिसोदिया से संपर्क साधा। 474 के लिए आर्थिक राजनीतिक दबाव बनाया गया तो 475-476 के लिए बड़ी रकम तक आॅफर कर दी गई।
मैं गलत हूं तो मुझे सार्वजनिक स्तर पर नंगा करें...
10 अपै्रल 2017 को आयुक्त को लिखे गए पत्र में लिखा कि यदि नगर निगम एमजी रोड जैसी शहर की सबसे व्यस्ततम सड़क को बिल्डरों के हाथों बेच चुका है तो कृपया स्पष्ट करें। मैं आपको यह जरूर स्पष्ट कर दूूं कि मैं किसी भी सूरत पर निगम के मैदानी अमले के पाप में भागीदार नहीं होऊंगा जो दबाव-प्रभाव डालकर मेरी आवाज दबाना चाहते हैं। अधिकारी कार्रवाई करना नहीं चाहते और मुझे ब्लैकमेलर कहते रहते हैं। मैं आप सहित उन तमाम लोगों को चुनौती देता हूं कि यदि आपके पास मेरे द्वारा किसी को ब्लैकमेल किए जाने का कोई प्रमाण है तो कृपया उसे सार्वजनिक करके मुझे सार्वजनिक रूप से नंगा करें। मेरा आपसे इतना ही निवेदन है कि निर्माण जानलेवा है। शहरविरोधी है। आप अपने स्तर पर उक्त निर्माण की जांच करवाएं। जो निर्माण अवैध है उस पर कार्रवाई करने की कृपा करें और दोषियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करें।
ऐसे हैं अवैध निर्माण
प्लॉट नं. 474 :-  649.59 वर्गफीट के प्लॉट पर  1.5 एफएआर के साथ नगर निगम ने 1 सितंबर 2016 को ग्राउंड+मेजेनाइन+2 बिल्डिंग का नक्शा (क्र.3238/आईएमसी/जोन3/वार्ड58) मंजूर किया था। कुल 1052 वर्गफीट व्यावसायिक निर्माण स्वीकृत हुआ । मार्केट बना है 2250 वर्गफीट।
प्लॉट नं. 475-476 :- पहले मप्र भूमि विकास अधिनियम के विपरीत जोड़ा गया। बाद में 3077 वर्गफीट निर्माण की अनुमति लेकर कुल 6682 वर्गफीट का ‘जयश्री कृष्णा’ कॉम्पलेक्स तान दिया गया। मतलब 3681 वर्गफीट ज्यादा निर्माण।
मार्केट बिकने तक चूप रहे अधिकारी
एमजी रोड 475-476 पर जयश्री कष्णा मार्केट निर्माणाधीन अवस्था में था तब पहली शिकायत पूर्व पार्षद सिसोदिया ने की थी लेकिन नगर निगम सिर्फ नोटिस ही देता रहा। अब तक पूरा मार्केट करीब-करीब बिक चुका है। दुकानें खुल चुकी हैं लेकिन कार्रवाई के पते नहीं है। 

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