Thursday, August 21, 2025

ईडी के शिकंजे में रॉबर्ट, ईओडब्ल्यू की जद से दूर मप्र का "वाड्रा'


गांधी परिवार के दामाद ने 58 करोड़ की जमीन 7.5 करोड़ में खरीदकर 50.50 करोड़ बचाए, वहीं 200 करोड़ की जमीन 48 करोड़ में खरीदकर संजय पाठक ने 152 करोड़ कमाए
फिर भी सरकारी शिकंजे से दूर है मप्र का धनी विधायक 
विनोद शर्मा।  
58 करोड़ की जमीन 7.5 करोड़ में खरीदने के मामले में रॉबर्ट वाड्रा को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) बयान के लिए बुलाबुला कर हैरान-परेशान कर रहा है वहीं मप्र सहारा समूह की 310 एकड़ जमीन 90 करोड़ में खरीदने वाले भाजपा विधायक संजय पाठक बेखौफ घुम रहे हैं। सपा के प्रदेश प्रमुख डॉ. मनोज यादव की शिकायत पर ईओडब्ल्यू ने केस तो दर्ज किया लेकिन अफसर पाठक को तलब कर सवाल करने की हिम्मत नहीं जुटा पाए। कांग्रेस नेता भी कमाल हैं। उन्होंने सोनिया गांधी-राहुल गांधी के खिलाफ पेश ईडी के चालान के विरोध में प्रदर्शन तो किए लेकिन पाठक की कहानी उन्हें पल्ले नहीं पड़ी।  
 सहारा ग्रुप की मप्र के आधा दर्जन जिलों में जमीन थी जिसकी कीमत करीब 1200 करोड़ थी। भोपाल में 110 एकड़, देवास में 107 एकड़, जबलपुर में 103 एकड़, ग्वालियर में 161 एकड़, इंदौर में 90 एकड़ और कटनी में 99 एकड़। मार्च 2022 में मक्सी के 11-मिल बायपास से लगी (भोपाल) की 110 एकड़ जमीन सिनाप रियल एस्टेट प्रा.लि. ने सिर्फ 48 करोड़ में खरीदी। 2014 में सहारा समूह और सरकारी वेल्युअर ने जमीन की कीमत 125 करोड़ आंकी थी। सिनाप जबलपुर की कंपनी है और इसमें राजेश सिंह गौतम और सन्नी गुप्ता डायरेक्टर हैं। इसे पाठक की जेबी कंपनी बताया जा रहा है।  
 इसी तरह जबलपुर में 103 एकड़ जमीन नायसा देवबिल्ड प्रा.लि. को 20 करोड़ में बेची। मुंबई की इसी कंपनी ने ग्राम चाका जिला कटनी की 99 एकड़ जमीन अप्रैल से जुलाई 2023 के बीच 20 करोड़ में खरीदी। ऐसे कुल 310 एकड़ जमीन की कीमत 88 कराेड़ मिली जबकि बाजार कीमत 1000 करोड़ थी। 28 जनवरी 2025 को ईओडब्ल्यू ने दोनों कंपनियों के प्रतिनिधिनियों सहित 9 लोगों को नोटिस जारी किए थे। 
बेखौफ है पाठक 
ईओडब्लयू के नोटिसों से प्रदेश के सबसे धनी विधायक संजय पाठक की सेहत कोई असर नहीं पड़ा। वे बेखौफ हैं। दो दिन पहले रतलाम में बाबा बागेश्वर के कार्यक्रम में थे। वहीं शनिवार को भी वे सोशल मीडिया पर श्रीमद भगवत गीता को यूनेस्को द्वारा विश्व धरोहर घोषित किए जाने की बधाई देते रहे। पाठक ने नवंबर 2013 का चुनाव कांग्रेस के टिकट पर लड़ा था। जीते भी लेकिन 27 मार्च को पाठक ने कांग्रेस पार्टी से इस्तीफा दे दिया और 31 मार्च 2014 को वे बीजेपी में शामिल हो गए।   
"गांधीजी' निपटा देते हैं मामले 
पाठक को ईओडब्लयू के राडार पर बता रहा है लेकिन पाठक अपने मजे में मस्त है। क्योंकि उनके पास "गांधीजी' की ताकत है। जो उन्हें हर टेंशन से दूर रखती है। इसी ताकत के दम पर 2017 में उन्होंने 500 करोड़ के अंतरराष्ट्रीय हवाले के आरोपों की सिर्फ हवा निकाल दी थी बल्कि हवाला पकड़ने वाले एसपी (कटनी) गौरव तिवारी को भी चलता कर दिया था। 
यह था 500 करोड़ का हवाला कांड...
20 और 21 दिसंबर 2016 को इंकम टैक्स (आईटी) विभाग के इनवेस्टिगेशन विंग द्वारा कटनी स्थित एक्सिस बैंक में छापे के दौरान 40 से ज्यादा बोगस खातों का एकाउंट ओपनिंग फार्म और स्टेटमेंट जब्त कर 23 दिसंबर को कटनी में 500 करोड़ से ज्यादा के हवाला कारोबार का खुलासा किया गया। इसमें कई ऐसे लोगों को इनकम टैक्स का नोटिस मिला जिनकी सालाना आय 5 लाख से कम थी। रजनीश तिवारी, विनय जैन और उमादत्त हल्दकार की शिकायत पर पुलिस ने 12 जुलाई 2016 को धोखाधड़ी का प्रकरण दर्ज कर जांच शुरू की थी। सबसे पहले संदीप बर्मन गिरफ्तार हुआ। उसने सतीश सरावगी व मनीष सरावगी के नाम बताए। जो पाठक के भागीदार थे। जो पाठक के परिवार की कंपनियों के नाम पर पैसा रोटेट करते थे। तब भाजपा नेता अजय विश्नोई ने मंत्रीपद से इस्तीफा मांगा था। कुछ दिन बाद मामला शांत हो गया।

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